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इस साल रक्षाबंधन पर भद्रा का साया, ना करें भाई को राखी बांधने की गलती, जानें क्‍यों इतना अशुभ होता है भद्रा काल

Raksha Bandhan 2024 Date: सावन पूर्णिमा के दिन रक्षाबंधन का त्‍योहार मनाया जाता है. इस साल रक्षाबंधन पर्व 19 अगस्‍त 2024, सोमवार को मनाया जाएगा. इसी दिन सावन महीने का आखिरी सोमवार भी है. रक्षाबंधन के दिन बहनें अपने भाई की कलाई पर राखी बांधती हैं और उसकी लंबी व सेहतमंद जीवन की कामना करती हैं. इस साल रक्षाबंधन के दिन भद्रा काल का साया रहेगा. भद्रा काल में राखी बांधना वर्जित होता है, ऐसे में कब और कैसे राखी बांधना शुभ होगा और भद्रा काल में राखी बांधना अशुभ क्‍यों होता है, जानिए.

रक्षाबंधन पर भद्रा काल 

पंचांग के अनसार, 19 अगस्त की रात 2 बजकर 21 मिनट पर भद्रा लग जाएगी इसके बाद सुबह 09 बजकर 51 मिनट से 10 बजकर 53 मिनट तक पर भद्रा पुंछ रहेगा. फिर, सुबह 10 बजकर 53 मिनट से लेकर दोपहर 12 बजकर 37 मिनट तक भद्रा मुख रहेगा. भद्रा का समापन दोपहर 1 बजकर 30 पर होगा.

रक्षाबंधन 2024 पर राखी बांधने के शुभ मुहूर्त 

सुबह से भद्रा काल के चलते रक्षाबंधन के दिन इस साल दोपहर से ही राखी बांधने के शुभ मुहूर्त रहेंगे. रक्षाबंधन पर 19 अगस्‍त को राखी बांधने के लिए सबसे खास मुहूर्त दोपहर 1 बजकर 43 मिनट से लेकर शाम 4 बजकर 20 मिनट तक रहेगा. इसके बाद शाम के समय प्रदोष काल में भी भाई की कलाई पर राखी बांधी जा सकती है. लिहाजा रक्षाबंधन पर राखी बांधने का दूसरा शुभ मुहूर्त शाम 6 बजकर 56 मिनट से रात 9 बजकर 07 मिनट तक प्रदोष काल में रहेगा.

क्‍यों नहीं बांधते भद्रा काल में राखी?

भद्रा काल में केवल राखी बांधना ही नहीं बल्कि कोई भी शुभ कार्य करना अशुभ होता है. दरअसल, शनि की बहन भद्रा को श्राप मिला था कि उसके काल में किया गया कार्य अशुभ फल देगा. रक्षाबंधन पर भद्राकाल में राखी नहीं बांधने को लेकर एक पौराणिक कथा यह भी कि लंकापति रावण को उसकी बहन ने भद्राकाल में ही कलाई पर राखी बांधी थी. इसके 1 साल बाद ही रावण भगवान राम के हाथों मारा गया था. इ‍सलिए भद्रा काल में राखी बांधना अशुभ माना गया है.

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