



दिल्ली: केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल ने शुक्रवार को भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) मुख्यालय में एक प्रेस कॉन्फ्रेंस की। इसमें उन्होंने कारगिल विजय दिवस, भारत-ब्रिटेन मुक्त व्यापार समझौता (FTA) और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की वैश्विक लोकप्रियता जैसे अहम मुद्दों पर बात की। उन्होंने कहा कि इन सभी उपलब्धियों से यह साबित होता है कि पीएम मोदी के नेतृत्व में भारत का सम्मान, ताकत और वैश्विक प्रभाव तेजी से बढ़ा है। पीयूष गोयल ने कहा कि कारगिल विजय दिवस भारत के बहादुर जवानों की वीरता की याद दिलाता है। उन्होंने कहा कि 1999 में हमारी सेना ने दुर्गम पहाड़ियों पर चढ़कर दुश्मनों को पीछे हटाया था। उन्होंने पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी के नेतृत्व को याद करते हुए कहा कि उस समय भारत ने दुनिया को एक मजबूत संदेश दिया था कि देश की एकता और अखंडता से कोई समझौता नहीं होगा। गोयल ने आगे कहा कि आज भी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में वही नीति जारी है,जो भी भारत की संप्रभुता को चुनौती देगा, उसे मुंहतोड़ जवाब दिया जाएगा। गोयल ने बताया कि भारत और ब्रिटेन के बीच हुआ मुक्त व्यापार समझौता (FTA) अब तक का भारत का सबसे बड़ा और व्यापक व्यापार समझौता है। इससे भारत के कई क्षेत्रों को लाभ मिलेगा जैसे, फार्मा, वस्त्र (टेक्सटाइल), रत्न-आभूषण, खाद्य प्रसंस्करण और एमएसएमई और टेक्नोलॉजी सेक्टर। उन्होंने बताया कि इस समझौते के तहत 95% भारतीय कृषि और खाद्य उत्पादों को ब्रिटेन में बिना किसी टैक्स (ड्यूटी फ्री) के निर्यात किया जा सकेगा। भारतीय डेयरी सेक्टर को पूरी तरह संरक्षण मिला है, यानी उस पर कोई असर नहीं पड़ेगा। इस समझौते के लागू होने के लिए अब बस यूके संसद की मंजूरी बाकी है। एफटीए के जरिए भारत के क्लस्टर आधारित उद्योगों को सीधा लाभ मिलेगा, जैसे, मुरादाबाद (पीतल) कानपुर (चमड़ा), तिरुपुर (वस्त्र), सूरत (हीरा और कपड़ा), कोच्चि (सीफूड)। सरकार इन क्षेत्रों के निर्यातकों को प्रशिक्षण और संसाधन भी देगी ताकि वे अपने उत्पादों को बेहतर तरीके से विदेशों में बेच सकें। पीयूष गोयल ने बताया कि हाल ही में हुए एक अंतरराष्ट्रीय सर्वे में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी दुनिया के सबसे लोकप्रिय नेता घोषित किए गए हैं। उन्होंने कहा कि अब तक 27 देशों ने प्रधानमंत्री को अपना सर्वोच्च नागरिक सम्मान दिया है। यह भारत की बढ़ती हुई वैश्विक साख और नेतृत्व क्षमता को दर्शाता है। गोयल ने कहा, “यह सम्मान सिर्फ प्रधानमंत्री का नहीं, बल्कि पूरे भारत का है।