



सिरमौर: हिमाचल प्रदेश के जिला सिरमौर के तहत पुलिस थाना माजरा में दर्ज युवती के अपहरण के मामले में सोमवार शाम उस वक्त नया मोड़ आ गया, जब पुलिस ने अदालत में युवती के बयान दर्ज करवाए. पुलिस के अनुसार युवती ने अपने बयान में कहा कि वह जिस युवक के साथ गई थी, वो और मैं आपस में अच्छे दोस्त हैं. वह अपने दोस्त के साथ अपनी मर्जी से घर से गई थी, न तो उन्होंने कोई गलत काम किया और न ही उन्होंने शादी की है. साथ ही इसमें युवक का कोई हाथ नहीं है और वह अपनी मर्जी से ही घूमने गई थी.एसपी सिरमौर एनएस नेगी ने बताया कि अदालत में दिए गए बयान के बाद युवती को उसके परिजनों के सुपुर्द कर दिया गया है. युवती के बयान के आधार पर ही अब मामले में आगामी कार्रवाई अमल में लाई जाएगी. इस पूरे प्रकरण में भीड़ के दौरान पथराव करने, पुलिस कर्मियों पर धारदार हथियार से हमला करने आदि मामलों पर पुलिस गहनता से जांच कर रही है. सीसीटीवी सहित घटना से संबंधित वीडियो इत्यादि के आधार पर उपद्रवियों की पहचान के प्रयास किए जा रहे हैं. पुलिस गहनता से इस पूरे प्रकरण की जांच कर रही है। दरअसल पुलिस थाना माजरा के तहत एक पंचायत से एक युवती लापता हो गई थी. परिजनों ने इसकी शिकायत पुलिस थाना में शिकायत दर्ज करवाई. शिकायत में एक विशेष समुदाय के युवक पर अपहरण के आरोप लगाए गए. 10 जून को पुलिस ने शिकायत के आधार पर अपहरण का केस दर्ज कर मामले की जांच शुरू की. मामले ने उस वक्त तूल पकड़ा, जब 10 जून की देर रात युवती के परिजन, ग्रामीण और हिंदू संगठनों से जुड़े लोग भड़क उठे और कीरतपुर गांव में उस युवक के घर के बाहर एकत्रित होकर हंगामा किया, जिस पर परिजनों ने उनकी लड़की के अपहरण की आशंका जताई थी. हंगामा बढ़ता देख डीएसपी मानवेंद्र ठाकुर पुलिस बल के साथ मौके पर पहुंचे और लोगों से बातचीत कर हालात को संभाला. डीएसपी द्वारा त्वरित कार्रवाई का भरोसा दिलाया गया. तीन दिन के अंदर यानी 13 जून की सुबह तक युवती की तलाश का आश्वासन दिया गया, जिसके बाद मामला शांत हुआ और प्रदर्शनकारी लोग शांतिपूर्वक अपने घरों को लौट गए. पुलिस द्वारा युवती की तलाश के लिए दिए गए समय तक उसका कुछ पता नहीं चल पाया. 13 जून की सुबह करीब 11 बजे हिंदूवादी संगठनों के साथ परिजनों और ग्रामीणों ने नेशनल हाईवे 07 पर माजरा चौक पर चक्का जाम कर दिया. इस दौरान मौके पर पहुंचे प्रशासनिक और पुलिस अधिकारियों को नाराज हिंदूवादी संगठनों ने शाम तक युवती का पता न चलने की स्थिति में उग्र प्रदर्शन की चेतावनी दी. जिसके बाद शाम को एक बार फिर हिंदूवादी संगठनों के लोगों ने प्रदर्शन किया और स्थिति तनावपूर्ण हो गई. मौके पर प्रदेश भाजपा अध्यक्ष डॉ. राजीव बिंदल, पांवटा साहिब के विधायक सुखराम चौधरी भी मौके पर पहुंचे थे।
13 जून की शाम को उस वक्त कीरतपुर गांव में तनाव बढ़ गया, जब हिंदूवादी संगठनों से जुड़े सैकड़ों लोग संबंधित युवक के घर की तरफ कूच कर रहे थे. इसी बीच दोनों समुदायों के लोगों के बीच स्थिति तनावपूर्ण हो गई और एक दूसरे पर पथराव किया गया. इस दौरान लोगों के हाथों में डंडे और धारदार हथियार भी थे. इस पर पुलिस को स्थिति को काबू करने और सुरक्षा की दृष्टि से हल्का लाठीचार्ज करना पड़ा. इस घटना में 3 पुलिस कर्मियों सहित करीब 12 लोग के घायल हो गए. दिन भर चले इस हंगामे और फिर मामले में बढ़ते तनाव को देख जिला मुख्यालय नाहन से एसपी सिरमौर सिरमौर एनएस नेगी भी मौके पर पहुंचे और सुरक्षा की दृष्टि से खुद मोर्चा संभाला. शुरुआत में इस मामले को लव जिहाद का रंग देने का प्रयास किया गया. स्थिति तनावपूर्ण होने के कारण अतिरिक्त पुलिस बल की भी तैनाती की गई. दोनों समुदायों के बीच सांप्रदायिक टकराव के बाद 13 जून की देर शाम डिस्ट्रिक्ट मैजिस्ट्रेट प्रियंका वर्मा ने त्वरित कार्रवाई करते हुए भारतीय न्याय संहिता की धारा 163 (पूर्व में धारा 144) लागू कर दी. पांच गांवों कीरतपुर, मेलियों, फतेहपुर, मिश्रवाला और माजरा के लिए यह आदेश जारी किए गए. संबंधित इलाकों में 19 जून तक ये धारा लागू की गई है. इन आदेशों के तहत संबंधित इलाकों में 5 या इससे अधिक लोगों के एक साथ एकत्रित होने पर भी प्रतिबंध लगाया गया. किसी भी स्थिति से निपटने के लिए करीब 150 पुलिस जवान यहां तैनात किए गए हैं. फिलहाल यह धारा अभी लागू है. इसके बाद इस मामले में 14 जून को एक बार फिर माजरा थाना के अधिकार क्षेत्र में भाजपा प्रदेश अध्यक्ष डॉ. राजीव बिंदल और पांवटा साहिब के विधायक सुखराम चौधरी के साथ युवती के परिजनों, ग्रामीणों सहित हिंदूवादी संगठनों ने धरना प्रदर्शन करते हुए अपना विरोध व्यक्त किया. इस दौरान राजीव बिंदल और एसडीएम पांवटा साहिब गुंजित सिंह चीमा के बीच लाठीचार्ज और पथराव की घटना को लेकर तीखी नोकझोंक भी हुई. पुलिस द्वारा युवती की बरामदगी कर लेने और अन्य मांगों पर उचित आश्वासन के बाद यह धरना प्रदर्शन समाप्त हुआ और लोग अपने घरों को लौट गए. इस दौरान राजीव बिंदल ने कहा कि 4 जून से एक 18 वर्षीय युवती को बहला-फुसलाकर अपहरण की घटना अत्यंत निंदनीय और चिंताजनक है. इस घटना ने स्थानीय समुदाय में गहरा आक्रोश पैदा किया है. भाजपा इस गंभीर मामले को लेकर पीड़ित परिवार और स्थानीय नागरिकों के साथ पूर्ण एकजुटता व्यक्त करती है. बिंदल ने कहा कि भाजपा इस मामले में पीड़ित परिवार को हर संभव सहायता प्रदान करने के लिए प्रतिबद्ध है. पार्टी स्थानीय प्रशासन और पुलिस से इस मामले में त्वरित और पारदर्शी जांच की अपेक्षा करती है। 14 जून को ही पुलिस ने कथित अपहृत युवती को हरियाणा के जिला अंबाला के साहा से रिकवर किया. साथ ही विशेष समुदाय से ताल्लुक रखने वाले उस युवक को भी पकड़ लिया, जिस पर हिंदू समुदाय की इस युवती के अपहरण के कथित आरोप लगाए गए थे. नियमानुसार युवती को उसी शाम अदालत में पेश किया गया, जहां से उसे वन स्टॉप सेंटर भेज दिया गया. अदालत में सोमवार यानी 16 जून को युवती के बयान दर्ज करवाने के आदेश दिए गए. वहीं, इस बीच मामले में पुलिस युवक से भी पूछताछ कर रही थी. 14 जून की शाम को इस मामले को लेकर प्रेस रिलीज जारी की गई. एसपी सिरमौर एनएस नेगी ने प्रेस रिलीज में इस पूरे मामले का विस्तार से जिक्र करते हुए बताया कि 13 जून को माजरा में स्थानीय पंचायतों व उक्त संगठनों के करीब 300 से 350 लोग धरना प्रदर्शन में शामिल हुए. इस धरना प्रदर्शन में शामिल असामाजिक तत्व के बहकावे में आकर इसी दिन शाम को प्रदर्शनकारी उग्र होकर युवक पक्ष के घर गांव कीरतपुर चले गए. जहां पर शाम करीब साढ़े 6 बजे पहुंचकर घर पर तोड़फोड़ व मारपीट भी की, उग्र भीड़ जानी नुकसान करने पर उतारू थी. इसी दौरान मौके पर तैनात पुलिस अधिकारियों व जवानों ने दृढ़ता से मौका संभाला. मौके पर भारी जान माल के नुकसान को रोकने और उग्र भीड़ को तितर-बितर करने के लिए पुलिस जवानों को हल्का बल का प्रयोग भी करना पड़ा। एसपी सिरमौर ने बताया कि इसी सिलसिले में दोनों पक्षों के बयान और शिकायत पत्र पर भी पुलिस थाना माजरा में केस दर्ज किए गए. उग्र भीड़ द्वारा की गई मारपीट में दर्ज हुए अन्य मामलों में भी गहनता से जांच की जा रही है. दोषी पाए जाने वाले लोगों के विरुद्ध नियमानुसार सख्त कार्रवाई अमल में लाई जाएगी। इसी बीच 15 जून की सुबह पांवटा साहिब पुलिस द्वारा पुलिस के व्हाट्सएप ग्रुप में पुलिस कर्मियों से मारपीट मामले में बीएनएस की विभिन्न धाराओं के तहत 4 आरोपियों की गिरफ्तारी की जानकारी मीडिया से साझा की गई. आरोपियों पर यह कार्रवाई पुलिस कर्मियों पर धारदार हथियारों से हमला करने और भीड़ को उकसाने के आरोप में अमल में लाई गई. इस घटना में 3 पुलिसकर्मी घायल हो गए थे. पुलिस ने मामले में आरोपी सुमित गुप्ता (50), मानव शर्मा (41), राज कुमार (34) और जय प्रकाश (39) गिरफ्तार किया गया. ये सभी नाहन के रहने वाले हैं. आरोपियों को शाम को अदालत में पेश किया गया, जिन्हें न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया।