हमारा सोलन रेडियो ने मनाया अपना 15 वां स्थापना दिवस….

सोलन:  हिमालयी राज्यों के पहले सामुदायिक रेडियो स्टेशन हमारा सोलन रेडियो 90.4 का 15 स्थापना दिवस बुधवार को एमएस पंवार इंस्टीट्यूट सोलन में मनाया जाएगा। इस अवसर पर डॉ. यशवंत सिंह परमार यूनिवर्सिटी नौणी के वाइस चांसलर प्रोफेसर राजेश्वर सिंह चंदेल बतौर मुख्यातिथि शिरकत करेंगे। एससीईआरटी सोलन के प्रिंसिपल डॉ.हेमंत कुमार ,सोलन कॉलेज की प्रिंसिपल प्रो. रीता शर्मा, डिप्टी डॉयरेक्टर डॉ.जगदीश नेगी,ऑल इंडिया के रेडियो ब्राडकास्टर रहे चंडीगढ़ के सर्वप्रिय निर्मोही समेत अन्य गणमान्य लोग इस कार्यक्रम की शोभा बढ़ाएंगे। यह जानकारी एमएस पंवार इंस्टीट्यूट के निदेशक डॉ. बीएस पंवार ने दी।

Nayab Singh Saini Profile: हरियाणा के नए मुख्यमंत्री होंगे नायब सिंह सैनी, जानिए इनका राजनीतिक सफर

चंडीगढ़ : हरियाणा में सियासी उथल पुथल जारी है। इसी उधेड़ बुन में मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा दे दिया है। इसी के साथ चंडीगढ़ में हुई बैठक में उनकी कैबिनेट ने भी रिजाइन कर दिया है। ऐसे में अब मुख्यमंत्री पद के लिए नायब सिंह सैनी का नाम चुना गया है।

अंबाला में जन्मे थे सैनी

नायब सैनी 25 जनवरी 1970 को अंबाला के गांव मिर्जापुर माजरा में सैनी परिवार में जन्मे थे। उन्होंने बीए और एलएलबी किया हुआ है। सैनी राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ से जुड़े हैं। सैनी ओबीसी समुदाय से आते हैं। उन्हें संगठन में काम करने का लंबा अनुभव है।

ओबीसी वर्ग से संबंध रखते हैं नायब

नायब सिंह सैनी अन्य पिछड़ा वर्ग (OBC) से ताल्लुकात रखते हैं और वह कुरुक्षेत्र से सांसद  हैं। नायब सिंह को मुख्यमंत्री मनोहर लाल का खास भी समझा जाता है। भाजपा के साथ उन्होंने अपना राजनीतिक सफर भारतीय जनता पार्टी के सहयोगी के रूप में साल 1996 से शुरू किया और साथ मिलकर साल 2000 तक काम किया।  इसके बाद साल 2002 में युवा मोर्चा भारतीय जनता पार्टी (BJP) अंबाला से वह जिला महामंत्री रहे। वह साल 2005 में युवा मोर्चा भारतीय जनता पार्टी के जिला अध्यक्ष पद पर भी तैनात रहे।

कुरुक्षेत्र से रहे हैं सांसद

नायब सिंह सन् 2009 में भारतीय जनता पार्टी किसान मोर्चा हरियाणा के प्रदेश महामंत्री के पर पर आसीन रहे। साल 2012 में भारतीय जनता पार्टी से वह जिलाध्यक्ष रहे। सन् 2014 मे नायब नारायण गढ़ विधानसभा से विधायक बने और फिर साल 2015 में हरियाणा सरकार में राज्य मंत्री रहे। वह साल 2019 में कुरुक्षेत्र सांसद रहे। अब वह हरियाणा में बीजेपी प्रदेशाध्यक्ष पद पर आसीन हैं और अब हरियाणा के नए मुख्यमंत्री (Haryana News CM Nayab Singh) के रूप में शपथ ग्रहण करेंगे।

भाजपा का सरकार गिराने का मॉडल हिमाचल में हुआ फेल, पांच साल चलेगी कांग्रेस सरकार : नरेश चौहान

शिमला : हिमाचल में अभी सियासी संकट टला नहीं है और भाजपा लगातार सरकार अल्पमत में होने का दावा कर रही है। वहीं मुख्यमंत्री के प्रधान मीडिया सलाहकार नरेश चौहान ने हिमाचल में 5 साल कांग्रेस सरकार के चलने का दावा किया है। नरेश चौहान ने कहा कि भाजपा के देशभर में सरकार गिराने का मॉडल  हिमाचल में फेल हुआ है। उन्होंने कहा कि पिछले दिनों हिमाचल प्रदेश में जो राजनीतिक घटनाक्रम हुआ उससे सब वाकिफ है। प्रदेश में जनता के बहुमत से कांग्रेस पार्टी की सरकार बनी और 6 बागी विधायकों ने पार्टी और अपनी क्षेत्र की जनता के साथ धोखा किया जोकि बहुत ही दुर्भाग्यपूर्ण है और प्रदेश की जनता इसका जवाब देगी। इस सारे सियासी घटनाक्रम के पीछे पूरी तरह से भाजपा का हाथ है। प्रदेश में कांग्रेस पार्टी की सरकार को गिराने का भाजपा ने प्रयास किया लेकिन भाजपा असफल रही है।

मुख्यमंत्री के प्रधान मीडिया सलाहकार नरेश चौहान ने कहा कि प्रदेश में कांग्रेस पार्टी अपनी सभी चुनावी गारंटियों को पूरा करेगी और भाजपा वालों ने इस पर अब चुप्पी साध ली है। प्रदेश में कांग्रेस पार्टी की सरकार विकास के कार्यों को जारी रखेगी। कांग्रेस भाजपा और जयराम ठाकुर से सवाल करती है कि क्या प्रदेश के कर्मचारियों को ओ.पी.एस नहीं मिलना चाहिए, महिलाओं को 1500 नहीं मिलने चाहिए। प्रदेश की वर्तमान कांग्रेस पार्टी की सरकार हर वर्ग का ध्यान रख रही है।

वहीं, नरेश चौहान ने कहा कि 6 निष्कासित सदस्य आज अपने क्षेत्र की जनता के बीच नहीं जा पा रहे है और जगह-जगह घूम रहे है। उन्होंने प्रदेश के मतदाताओं से धोखा किया है और अब वे उनके बीच में नहीं जा पा रहे है। उन्होंने प्रदेश के राजनितिक माहौल को ख़राब किया और हिमाचल की संस्कृति के खिलाफ काम किया है।

शिमला संकटमोचन मंदिर में तैयार हुई 4 करोड़ से 200 वाहनों की पार्किंग…

शिमला: राजधानी शिमला के ऐतिहासिक संकटमोचन मंदिर में आने वाले श्रद्धालुओं एवं पर्यटकों को अब जाम से नहीं जूझना पड़ेगा। मंदिर परिसर में चार करोड़ की लागत से वाहन पार्किंग तैयार हुई है। इस पार्किंग में 200 वाहन खड़ा करने की क्षमता है। सिटी मिशन के तहत बने इस वाहन पार्किंग का उद्घाटन बुधवार को लोक निर्माण मंत्री विक्रमादित्य सिंह ने किया। इस अवसर पर विक्रमादित्य सिंह ने कहा कि कच्ची घाटी वार्ड एवं संकट मोचन मंदिर क्षेत्र के लोगों की काफी पुरानी मांग को पूरी हुई है। उन्होंने कहा कि संकट मोचन मंदिर में पर्यटकों और श्रद्धालुओं की अधिक आवाजाही को देखते हुए एक भव्य वाहन पार्किंग की सख्त जरूरत थी, इसलिए इस पार्किंग को स्मार्ट सिटी मिशन के तहत निर्मित किया गया है। उन्होंने कहा कि पूर्व मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह ने इस वाहन पार्किंग के निर्माण के लिए 2013 में शिलान्यास किया था लेकिन फॉरेस्ट क्लीयरेंस व अन्य औपचारिकताएं पूर्ण करने में अधिक समय लगने के कारण निर्माण कार्य पूर्ण करने में थोड़ी देरी जरूर हुई है। इस वाहन पार्किंग में 200 वाहन खड़ा करने की क्षमता होगी। इससे पर्यटकों के साथ साथ स्थानीय लोगों को भी वाहन पार्किंग की सुविधा मिलेगी।

उन्होंने कहा कि संकट मोचन मंदिर के साथ एक बड़ा सामुदायिक भवन का निर्माण भी किया जाएगा। इसे भंडारा आदि की व्यवस्था के साथ-साथ अन्य कार्यों के लिए भी इस्तेमाल किया जा सकेगा। उन्होंने कहा कि स्थानीय लोगों एवं पर्यटकों की सुविधा के लिए संकट मोचन तथा बढ़ई गांव से होकर सर्कुलर रोड बनाने व पुराने रोड़ को चौड़ा करने का कार्य किया जाएगा। इसके लिए सभी औपचारिकताएं पूर्ण करने के लिए लोक निर्माण विभाग को निर्देश दे दिए गए हैं।

विक्रमादित्य सिंह ने कहा कि प्रदेश के साथ-साथ शिमला क्षेत्र के विकास के लिए भी भरसक प्रयास किया जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि नगर निगम शिमला के सभी वार्डों में संतुलित व समान विकास सुनिश्चित करने के लिए एक रोड मैप तैयार कर मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू से स्वीकृति लेकर उस पर कार्य किया जाएगा। उन्होंने कहा कि विकास वर्तमान की आवश्यकता है लेकिन शिमला की खूबसूरती को भी बनाए रखना हम सभी की जिम्मेदारी है जिससे शिमला में पर्यटकों की आवाजाही को बढ़ाया जा सके। उन्होंने कहा कि शिमला नगर निगम के सभी वार्डों में से चार वार्ड शिमला ग्रामीण विधानसभा क्षेत्र में आते हैं। इन चार वार्ड के विकास के लिए उन्होंने पहले 6-6 लाख रुपए देने की घोषणा की थी जिसे उन्होंने बढ़ाकर 10-10 लाख रुपए करने की घोषणा की।उन्होंने कहा कि शिमला शहर को पर्याप्त पेयजल मिले, इसके लिए प्रथम चरण में सुन्नी स्थित शकरोडी से 1200 करोड़ की लागत से निर्मित की जा रही उठाऊ पेयजल योजना का निर्माण कार्य जारी है। द्वितीय चरण में शिमला शहर के साथ-साथ शहर से सटे क्षेत्रों में भी पर्याप्त पेयजल मिले, इसके लिए कोलडेम से उठाऊ पेयजल योजना बनाई जाएगी जिस पर 800 करोड़ रुपए खर्च किए जाएंगे जिसकी सभी औपचारिकताएं पूर्ण की जा चुकी है।

पुलिस ने चिट्टे के दो मुख्य सप्लायर अमृतसर से किए गिरफ्तार…

सोलन। पुलिस ने चिट्टे के दो मुख्य सप्लायारों को पंजाब से गिरफ्तार किया है। यह कार्रवाई पुलिस ने चिट्टे के मामले में पहले से गिरफ्तार आरोपियों की निशानदेही पर किया है। हिमाचल के चिट्टा सप्लायरों के दोनों आरोपियों के बैंक खाता से चिट्टे को लेकर करीब दस लाख रुपये का लेन-देन भी पाया गया है, जिसकी पुलिस जांच कर रही है। एसपी सोलन गौरव सिंह ने बताया कि पुलिस की विशेष टीम ने न्यू शिमला के अमित कुमार और सोलन के चायल से विनय कुमार को 14 ग्राम चिट्टे के साथ गिरफ्तार किया था। दोनों को कोर्ट में पेश कर पुलिस रिमांड पर लिया गया। पूछताछ में पता चला कि दोनों ने चिट्टा पंजाब के जीरकपुर निवासी अंकुश ठाकुर से खरीदा था। पुलिस ने उसे भी गिरफ्तार कर लिया। जांच में पता चला कि अंकुश चिट्टे का एक बड़ा सप्लायर है। इसके खिलाफ 100 ग्राम चिट्टा तस्करी का मुकदमा पंजाब के खरड़ थाने में दर्ज है। आरोपी अंकुश की निशानदेही पर थाना सोलन की टीम ने 11 मार्च को पंजाब के अमृतसर जिले के गांव गिल, रायपुर कलां के अजय पाल सिंह और जगजीत सिंह को गिरफ्तार किया है। जांच के दौरान पाया गया कि अभियोग में गिरफ्तार पहले तीन आरोपियों ने इन दोनों के बैंक अकाउंट में पैसे ट्रांसफर करके चिट्टा खरीदा था। इन दोनों आरोपियों के बैंक खाता में दस लाख रुपये से ज्यादा की संदिग्ध ट्रांजेक्शन पाई गई है। पुलिस मामले की जांच कर रही है।

उल्टी-दस्त और पहुंच गए अस्पताल… हिमाचल के इस गांव में पानी पीने के बाद 300 लोग हुए बीमार

हमीरपुर: टौणी देवी क्षेत्र के पांच से अधिक गांव उल्टी दस्त की बीमारी की चपेट में आने के बाद हॉस्पिटल पहुंचने वाले मरीजों का आंकड़ा 300 पार कर चुका है। अस्पताल में भारी संख्या में मरीजों का पहुंचना जारी है। अधिकतर मरीज ग्वारडू, लोआखर, टौनी देवी, चाहड़, टपरे, बारी, महाड़े, घलो, सिसवा, भारी, खंदेहड़ा, लडयोह, झनिककर गांवों से संबंधित हैं । मरीजों का कहना है कि पिछले तीन दिन पहले उन्हें उल्टी दस्त अचानक लग गए। सभी मरीजों ने जल शक्ति विभाग के पेयजल टैंकों पर सवाल उठाए। सोमवार को जल शक्ति विभाग और स्वास्थ्य विभाग की टीमें फील्ड में उतरी रहीं। जल शक्ति विभाग और स्वास्थ्य विभाग ने क्षेत्र के अलग अलग हिस्सों से पानी के सैंपल भरे हैं। इनमें कुछ सैंपल पुराने जल स्त्रोतों, खातरियो इत्यादि के भी भरे गए हैं। जल शक्ति विभाग के बारी सेक्शन के कनिष्ठ अभियंता नितिन भारद्वाज के मुताबिक कुल छह सैंपल बारी के टैंकों और मंदिर की खातरी के भरे गए हैं। रिपोर्ट आने पर ही असली स्थिति का पता चलेगा। उधर जल शक्ति विभाग ने अपने सभी पेयजल टैंकों में ब्लीचिंग पाउडर का छिड़काव भी किया है।

स्वास्थ्य विभाग ने गांव में भेजी टीमें

बता दें कि इस क्षेत्र के कई गांव में पानी पीने के बाद यह लोग डायरिया की बीमारी से ग्रसित हो गए। सिविल अस्पताल टौणी देवी में 15 लोगों को भर्ती किया गया है। जहां उनका उपचार चल रहा है। अब तक 300 से अधिक मरीज सामने आ चुके हैं। हालांकि कुछ लोग प्राइवेट क्षेत्र में भी उपचार करवा रहे हैं। स्वास्थ्य विभाग को भी इसकी रिपोर्ट मिलते ही स्थिति पर कंट्रोल करने के लिए विभाग ने अलग-अलग टीमें बनाकर इन गांवों में भेजी ।

हिमाचल के कांगड़ा में भाजपा का चौका रोकने के लिए कांग्रेस को लगानी होगी दमदार फील्डिंग….

शिमला: हिमाचल प्रदेश की सियासत की दशा और दिशा तय करने वाला कांगड़ा जिला बेशक हर बार विधानसभा चुनाव में सत्ताधारी दल को ही पटखनी देता रहा हो, मगर कांगड़ा-चंबा संसदीय सीट से पिछले नौ चुनावों में सात बार भाजपा जीती है। पिछले तीन चुनाव भाजपा ने लगातार जीते हैं।  शुरुआत में यह सीट कांग्रेस का गढ़ रही है। ऐसे में भाजपा के चौके को रोकने और फिर वर्चस्व बनाने के लिए कांग्रेस खूब माथापच्ची कर रही है। धर्मशाला से कांग्रेस के अयोग्य घोषित विधायक सुधीर शर्मा की बगावत के बाद यह सीट हॉट हो गई है। वहीं, मुख्यमंत्री सुखविंद्र सिंह सुक्खू तो कांगड़ा को पर्यटन राजधानी बनाने के ऐलान के साथ यहां के अन्य कांग्रेस विधायकों को संतुष्ट करने के लिए जी-तोड़ मेहनत कर रहे हैं। अभी प्रत्याशी न कांग्रेस का तय है और न ही भाजपा का, मगर चुनावी दंगल में यहां का मुकाबला रोचक होने वाला है।

कांगड़ा-चंबा संसदीय क्षेत्र में आम चुनाव की सियासत का शुरुआती दौर कांग्रेस के दबदबे का गवाह है। आपातकाल में राजनीतिक दलों के समूह के रूप में उपजी जनता पार्टी ने कांग्रेस के इस विजय रथ को थामा। 1977 में जनता पार्टी के कंवर दुर्गा चंद ने जीत हासिल कर कांगड़ा-चंबा संसदीय क्षेत्र में गैर कांग्रेसी दलों के पांव जमाने की जमीन तैयार की। हालांकि, अगले दो चुनाव में कांग्रेस मजबूती के साथ वापसी करने में कामयाब रही। इसके बाद कांग्रेस का दबदबा कम होता चला गया और हिमाचल को पूर्ण राज्य का दर्जा मिलने के कुछ सालों बाद भाजपा ने मजबूत शुरुआत के साथ इस सीट पर अपनी पैठ बनाई। हिमाचल में मिलने के बाद कांगड़ा लोकसभा सीट से कांग्रेस के पहले सांसद विक्रम चंद महाजन बने। शांता कुमार ने 1989 में पहली बार सीट जीतकर भाजपा की झोली में डाली। शांता कुमार ने चार बार जीत हासिल कर संसद में कांगड़ा-चंबा का प्रतिनिधित्व किया। एक बार उन्हें हार का भी सामना करना पड़ा। कांग्रेस से हेमराज सबसे अधिक तीन बार विजयी रहे।

कुछ इस तरह हैं जातीय समीकरण
कांगड़ा संसदीय क्षेत्र के जातीय समीकरण सामान्य, अनुसूचित जनजाति और अन्य पिछड़ा वर्ग के मतदाताओं के इर्द-गिर्द ही बनते-बिगड़ते रहते आए हैं। मतदाताओं में सामान्य वर्ग की 25 फीसदी, एसटी वर्ग की 30, ओबीसी वर्ग की 27 और एससी वर्ग की 18 प्रतिशत हिस्सेदारी मानी जाती है। चंबा के चार और कांगड़ा के तीन विस क्षेत्रों में गद्दी समुदाय के मतदाता अहम भूमिका में रहते हैं।
17 में से 12 विस क्षेत्रों में कांग्रेस विधायक
संसदीय क्षेत्र में आने वाले कांगड़ा जिले के 13 विस क्षेत्रों में से 10 में कांग्रेस के विधायक हैं। इनमें एक धर्मशाला से अयोग्य घोषित विधायक सुधीर शर्मा हैं। चंबा के चार विधानसभा क्षेत्रों में से दो में कांग्रेस विधायक हैं। कांगड़ा-चंबा संसदीय क्षेत्र में भाजपा के 5 विधायक हैं। चंबा के भरमौर से भाजपा विधायक का क्षेत्र मंडी और कांगड़ा जिले के जसवां परागपुर से भाजपा विधायक का क्षेत्र हमीरपुर में आता है। देहरा से निर्दलीय विधायक हैं।
वर्ष           नाम                   पार्टी
1952     हेमराज                   कांग्रेस
1957     दलजीत सिंह           कांग्रेस
1962     हेमराज                   कांग्रेस
1967     हेमराज                    कांग्रेस
1971    विक्रम चंद महाजन     कांग्रेस
1977     कंवर दुर्गा चंद           जनता पार्टी
1980     विक्रम चंद महाजन     कांग्रेस
1984     चंद्रेश कुमारी कटोच    कांग्रेस
1989     शांता कुमार              भाजपा
1991     डीडी खनौरिया          भाजपा
1996     सत महाजन              कांग्रेस
1998     शांता कुमार             भाजपा
1999     शांता कुमार             भाजपा
2004     चंद्र कुमार               कांग्रेस
2009     राजन सुशांत            भाजपा
2014     शांता कुमार             भाजपा
2019     किशन कपूर            भाजपा

सात लोकसभा चुनाव में कांग्रेस-भाजपा को मिले वोट
वर्ष          पार्टी        वोट
1999    भाजपा      325066
कांग्रेस    224324
1998     भाजपा     334684
कांग्रेस     275449
1996    भाजपा     226293
कांग्रेस     263817
2004    कांग्रेस     314555
भाजपा     296764
2009    भाजपा     322254
कांग्रेस    3,01,475
2014    भाजपा     456163
कांग्रेस     286091
2019    भाजपा     725218
कांग्रेस       247595

भाजपा

सांसद किशन कपूर, भाजपा प्रदेश महामंत्री त्रिलोक कपूर, प्रदेश उपाध्यक्ष राजीव भारद्वाज, पूर्व विधायक विशाल नैहरिया, पूर्व मंत्री राकेश पठानिया, राहुल सिंह पठानिया, विशाल चौहान।

कांग्रेस
प्रदेश कोषाध्यक्ष डॉ. राजेश शर्मा, विशाल चंबियाल, डॉ सुशील कुमार शर्मा, धर्मवीर सिंह राणा, नागेश्वर मनकोटिया। पूर्व सांसद एवं मंत्री चंद्र कुमार, पर्यटन विकास निगम के अध्यक्ष आरएस बाली और पूर्व मंत्री आशा कुमारी में से किसी एक को हाईकमान बना सकता है प्रत्याशी।

23 मार्च तक आयोजित होगा पोषण पखवाड़ा…

सोलन: ज़िला सोलन में 23 मार्च तक पोषण पखवाड़ा 2024 आयोजित किया जा रहा है। यह जानकारी ज़िला कार्यक्रम अधिकारी सोलन विनोद गौतम ने दी। विनोद गौतम ने कहा कि पोषण के विषय में जन-जन को जागरूक करने और कुपोषण को मिटाने के लिए पोषण पखवाड़ा आयोजित किया जाता है। इस वर्ष पोषण पखवाड़ा का उद्देश्य जीवन चक्र दृष्टिकोण के माध्यम से कुपोषण से व्यापक रूप से निपटना है। उन्होंने कहा कि इस उद्देश्य की पूर्ति के लिए पोषण पखवाड़ा तीन थीम पर आधारित है। ज़िला कार्यक्रम अधिकारी ने कहा कि तीन थीम के अंतर्गत पोषण भी पढ़ाई भी, पारम्परिक और स्थानीय आहार प्रथाओं से पोषण के प्रति संवेदनशीलता पर ध्यान केन्द्रित करना और गर्भवती महिलाओं का स्वास्थ्य और शिशु तथा छोटे बच्चों को दूध पिलाने की प्रथा सहित सम्पूर्ण देखभाल सुनिश्चित करना है।उन्होंने कहा कि 13 मार्च, 2024 तक ‘पोषण भी पढ़ाई भी’ के अंतर्गत पोषण शपथ, प्रारम्भिक बाल्य काल देखभाल और शिक्षा, खेल-खेल के माध्यम से स्वास्थ्य वर्धक भोजन का ज्ञान और स्वाद संवर्धन तथा पूर्व स्कूली शिक्षा के तहत बच्चों के लिए मनोरंजक साक्षरता गतिविधियां आयोजित की जा रही हैं। विनोद गौतम ने कहा कि 14 से 18 मार्च, 2024 तक पारम्परिक और स्थानीय आहार प्रथाओं से पोषण के प्रति संवेदनशीलता पर ध्यान केन्द्रित किया जाएगा। इसके तहत पोष्टिक आहार प्रदर्शनी तथा हिमाचल के भूले हुए व्यंजनों पर चर्चा एवं प्रदर्शनी आयोजित की जाएगी। उन्होंने कहा कि इस अवधि में पोषण प्रतियोगिता, प्राकृतिक पत्तल व भोज्य सामग्री उपायों पर स्थानीय लोगों से चर्चा की जाएगी और मोटे अनाज के उपयोग को बढ़ावा दिया जाएगा। उन्होंने कहा कि 19 से 23 मार्च, 2024 तक नवजात शिशु तथा गर्भवती महिलाओं का स्वास्थ्य जानने के लिए घर-घर तक पहुंचा जाएगा और गर्भवती महिलाओं को आवश्यक जानकारी प्रदान की जाएगी। ज़िला कार्यक्रम अधिकारी ने लोगों से आग्रह किया कि अपने क्षेत्रीय आंगनवाड़ी केन्द्र के माध्यम से पोषण पखवाड़ा से जुड़े और सामुदायिक जागरूकता कार्यक्रम के माध्यम से उचित जानकारी प्राप्त कर कुपोषण मिटाने में सहयोगी बनें।

अयोग्य विधायकों की याचिका पर अब 18 मार्च को होगी अगली सुनवाई

शिमला: अयोग्य घोषित कांग्रेस के छह विधायकों को सुप्रीम कोर्ट से अभी राहत नहीं मिली है। मंगलवार को जस्टिस संजीव खन्ना, दीपांकर दत्ता और पीके मिश्रा की बेंच में मामले की सुनवाई हुई। अब मामले में अब अगली सुनवाई 18 मार्च को होगी। मंगलवार को हुई सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट की तीन सदस्यीय बेंच ने पूछा कि अयोग्य घोषित विधायक हाईकोर्ट क्यों नहीं गए?  हालात विधायकों ने उत्पन्न किए, तभी उन्हें अयोग्य घोषित किया गया। बता दें, प्रदेश के विधानसभा अध्यक्ष कुलदीप सिंह पठानिया के फैसले को बागियों ने सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी है। बागियों को सुप्रीम कोर्ट से अगर राहत मिली तो हिमाचल में फिर से सियासी तूफान मचेगा। विधायकों की अयोग्यता के फैसले पर रोक नहीं लगी तो सूबे के छह विधानसभा क्षेत्रों में उपचुनाव होंगे। कांग्रेस और भाजपा सहित देश और प्रदेश की जनता की नजरें भी सुप्रीम कोर्ट में होने वाली सुनवाई पर टिकी हैं। कांग्रेस के अयोग्य घोषित हो चुके विधायक चैतन्य शर्मा, देवेंद्र कुमार भुट्टो, इंद्र दत्त लखनपाल, राजेंद्र राणा, रवि ठाकुर और सुधीर शर्मा की ओर से याचिका दायर की गई है। याचिका में कांग्रेस के बागियों ने विधानसभा अध्यक्ष कुलदीप सिंह पठानिया के साथ राज्य के संसदीय कार्य मंत्री हर्षवर्धन चौहान को भी पार्टी बनाया है। 

अंतरराष्ट्रीय शिवरात्रि महोत्सव के सरस मेले में पहुंचा एक लाख की कीमत वाला “चंबा रुमाल”

मंडी : आज के दौर में अमूमन सभी लोग रुमाल का इस्तेमाल करते हैं और अपना रूमाल हमेशा अपनी जेब में ही रखते हैं। लेकिन आज हम जिस रूमाल की बात कर रहे हैं वह जेब में रखने वाला नहीं बल्कि फोटो की तरह फ्रेम में रखने वाला रुमाल है। इस रूमाल का नाम है चंबा रूमाल और यह रूमाल इस बार अंतरराष्ट्रीय शिवरात्रि महोत्सव के सरस मेले में भी पहुंचा है। इस रूमाल की कीमत एक लाख रुपए है। इसकी खासियत यह है कि इसमें दोनों तरफ एक जैसी कढ़ाई की जाती है। जिस कारण यह रूमाल दोनों ओर से एक जैसा दिखता है और इसे तैयार करने में कई महीने लगते हैं। चंबा जिला की सुनीता ठाकुर ने सरस मेला की प्रदर्शन एवं बिक्री में चंबा रूमाल का स्टॉल लगाया है। इन रूमालों को देखने के लिए स्टाल में लोगों की काफी भीड़ उमड़ रही है और यह रूमाल आकर्षण का केंद्र बना हुआ है। सुनिता ठाकुर चंबा जिला में नारायण स्वयं सहायता समूह की संचालक है और इनके साथ 7 और महिलाएं जुडी हैं जो चंबा रूमाल पर कारीगिरी करती है। सुनिता ने बताया कि वे पिछले 30 सालों से चंबा रूमाल तैयार कर रही हैं और 50 महिलाओं को निशुल्क चंबा रूमाल तैयार करने की ट्रेनिंग भी दे चुकी है। इस स्टॉल में उनके पास 200 रुपए से लेकर 1 लाख तक के रूमाल बिक्री के लिए उपलब्ध हैं।

सुनीता ठाकुर ने बताया कि चंबा रूमाल बनाने के लिए रेशम का धागा इस्तेमाल किया जाता है, जिसे अमृतसर से लाया जाता है। रूमाल को किसी भी कपड़े पर बनाया जा सकता है। सुनिता ने बताया कि वे पहली बार शिवरात्रि महोत्सव के सरस मेले में पहुंची हैं। उनके इस रूमाल को देखने के लिए काफी लोगों की भीड़ स्टाल पर जुट रही है और कुछ लोग छोटे डिजाइन के रूमाल खरीद भी रहे हैं।

बता दें कि अंतरराष्ट्रीय पटल पर अपनी पहचान बना चुके चंबा रूमाल की इस कढ़ाई को रियासत काल में चंबा के राजा पृथ्वी सिंह ने संवारा था। इस कला को उस समय आम लोगों के साथ शाही परिवार भी चंबा रुमाल की कढ़ाई किया करते थे। आज के दौर में इस रूमाल की लोकप्रियता अंतरराष्ट्रीय स्तर तक है और यह रूमाल विश्व भर में विख्यात है।